पहचानें थायरॉइड के शुरुआती लक्षण:-
आयोडीन के ज्यादा सेवन, हॉर्मोन से युक्त दवाओं के सेवन से यह हाइपरथॉयराइडिज्म हो सकता है। इसके लक्षण हैं:-
♦ ज्यादा पसीना आना
♦ आंखों के आसपास सूजन
♦ आंखों में तिरछापन
♦ थायरॉइड ग्लैंड का आकार बढ़ जाना
♦ हार्ट रेट बढ़ना
♦ बाल पतले होना
♦ त्वचा मुलायम होना।
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क्यों खतरनाक है थायरॉइड रोग:-
अगर थायरॉइड (हाइपरथायरॉइडिज्म) का ठीक समय से इलाज न किया जाए, तो ये कई जानलेवा रोगों का शिकार हो सकता है। गंभीर स्थिति में व्यक्ति को अचानक हार्ट अटैक, कार्डियक अरेस्ट, एरिथमिया (हार्टबीट असामान्य होना), ऑस्टियोपोरोसिस, कार्डियक डायलेशन जैसी समस्याएं हो सकती हैं। इसके अलावा गर्भावस्था में ऐसा होने पर गर्भपात, समयपूर्व प्रसव, प्रीक्लैम्पिसिया (गर्भावस्था के दौरान ब्लड प्रेशर बढ़ना), गर्भ का विकास ठीक से न होना जैसे लक्षण हो सकते हैं।
कैसे संभव है इस रोग से बचाव:-
थायरॉइड से बचाव के लिए जरूरी है कि आप बिना डॉक्टर की सलाह के कोई भी दवा न खाएं। आयोडीन वाले आहारों का बहुत अधिक मात्रा में सेवन न करें। बाजार में मौजूद आयोडीनयुक्त नमक से आपके शरीर के लिए जरूरी आयोडीन आपको मिल जाता है। डॉक्टर इन बीमारियों से बचने के लिए जीवनशैली में बदलाव लाने की सलाह देते हैं, खासतौर पर उन लोगों को ये बदलाव लाने चाहिए जिनके परिवार में इस बीमारी का इतिहास है। इसमें नियमित जांच, खूब पानी पीने, संतुलित आहार, नियमित रूप से व्यायाम, धूम्रपान या शराब का सेवन नहीं करने और अपने आप दवा नहीं लेने जैसे सुझाव शामिल हैं।
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महिलाओं को ज्यादा होता है खतरा:-
महिलाओं में हॉर्मोनों का बदलाव आने की संभावना पुरुषों की तुलना में अधिक होती है। आयोडीन की कमी से यह समस्या और अधिक बढ़ जाती है। तनाव का असर भी टीएसएच हार्मोन पर पड़ता है। इसलिए महिलाओं को हर साल थॉयराइड ग्लैंड की स्क्रीनिंग करवानी चाहिए, इससे कोई भी समस्या तुरंत पकड़ में आ जाती है और समय पर इलाज शुरू किया जा सकता है।
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